ब्रेस्ट कैंसर: क्या है, कैसे बचें और कौन‑से उपचार हैं?
अगर आप या आपके आसपास कोई महिला ब्रेस्ट कैंसर के बारे में सुना हो तो अक्सर सवाल आते हैं – यह कितना खतरनाक है? कब पता चल जाता है? इलाज आसान है या नहीं? चलिए इन सवालों का सीधा जवाब देते हैं, बिना डॉक्टर की जटिल भाषा में उलझे।
ब्रेस्ट कैंसर के प्रमुख लक्षण और जोखिम कारक
सबसे आम संकेत होते हैं: ब्रेस्ट या अंडरआर्म में गांठ, आकार या रूप में बदलाव, त्वचा की खिचाव या लालिमा, निप्पल से द्रव निकलना। अगर इनमें से कोई भी बात लगातार दो‑तीन हफ्ते तक बनी रहे तो तुरंत डॉक्टर को दिखाएँ। जोखिम कारकों में उम्र (40 के बाद बढ़ता है), परिवार में कैंसर का इतिहास, मोटापा, शराब का अधिक सेवन और देर तक हार्मोन रिप्लेसमेंट थैरेपी शामिल हैं। इन चीज़ों से बचने की कोशिश से खतरा काफी कम हो सकता है।
शुरुआती जांच कैसे करें?
ब्रेस्ट सेल्फ‑एक्सेम्प्लेशन (स्वयं परीक्षा) घर पर आसान है – बिस्तर पर लेटकर या खड़े होकर धीरे‑धीरे ब्रेस्ट को हाथों से महसूस करें। अगर कोई कठोर गाँठ या असमानता दिखे तो डॉक्टर के पास जाएँ। भारत में हर साल 40 से 49 साल की महिलाओं के लिए मुफ्त स्क्रीनिंग चलती है, इसे मिस न करें। मैमोग्राम सबसे भरोसेमंद टेस्ट है; कुछ मामलों में अल्ट्रासाउंड या एमआरआई भी सुझाए जा सकते हैं।
अब बात करते हैं उपचार की। ब्रेस्ट कैंसर का इलाज कई तरीकों से किया जाता है – सर्जरी, रेज़न थैरेपी (किरण चिकित्सा), कीमोथेरेपी और टार्गेटेड ड्रग्स। कौन‑सा तरीका चुना जाएगा, यह ट्यूमर के आकार, ग्रेड और मेटास्टेसिस की स्थिति पर निर्भर करता है। छोटे ट्यूमर को लम्पेक्टॉमी (आंशिक हटाना) या क्वाड्रेटोफैसिया के साथ सर्जरी से निकाला जा सकता है, जबकि बड़े मामलों में मैस्टेक्टॉमी (पूरा ब्रेस्ट निकालना) ज़रूरी हो सकता है।
कीमोथेरेपी अक्सर सर्जरी या रेज़न थैरेपी के बाद दी जाती है ताकि बची हुई कैंसर कोशिकाओं को खत्म किया जा सके। हाल ही में भारत में कई अस्पतालों ने इम्यूनोथेरपी का प्रयोग शुरू कर दिया है, जिससे रोग प्रतिरोधक शक्ति को बढ़ाकर ट्यूमर पर असर पड़ता है। अगर आपका डॉक्टर किसी क्लिनिकल ट्रायल की सलाह देता है तो एक बार ज़रूर विचार करें – नई दवाएँ अक्सर बेहतर परिणाम देती हैं।
उपचार के साथ-साथ जीवनशैली में बदलाव भी जरूरी है। नियमित व्यायाम (हफ़्ते में कम से कम 150 मिनट), संतुलित आहार जिसमें फाइबर और एंटीऑक्सिडेंट अधिक हों, शराब को सीमित रखें और वजन कंट्रोल करें। तनाव कम करने के लिए योग या मेडिटेशन मददगार हो सकते हैं। इन छोटे‑छोटे कदमों से न केवल कैंसर की रोकथाम होती है, बल्कि उपचार के बाद रिकवरी भी तेज़ होती है।
अगर आप या आपका कोई परिचित ब्रेस्ट कैंसर का सामना कर रहा है तो याद रखें – आज मेडिकल तकनीक बहुत आगे बढ़ी है और कई महिलाएँ पूरी तरह ठीक हो रही हैं। सही समय पर जांच, डॉक्टर की सलाह और स्वस्थ दिनचर्या मिलकर इस बीमारी को मात दे सकते हैं। किसी भी जानकारी या मदद के लिए हमारे मंच पर कमेंट करें; हम यहाँ हर सवाल का जवाब देने को तैयार हैं।

टीवी अभिनेत्री हिना खान को तीसरी स्टेज का ब्रेस्ट कैंसर: लक्षण और इलाज की जानकारी
लोकप्रिय टीवी अभिनेत्री हिना खान को तीसरी स्टेज का ब्रेस्ट कैंसर होने की खबर से उनके फैंस और मीडिया में काफी हलचल मची हुई है। हिना ने इंस्टाग्राम पर यह बताया कि उन्होंने अपना इलाज शुरू कर दिया है और बीमारी का डटकर मुकाबला करने के लिए तैयार हैं। ब्रेस्ट कैंसर के लक्षण और इलाज के विकल्पों पर इस लेख में विस्तार से जानें।
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